लखनऊ के पत्रकारों ने पुलिसिया चालान से परेशान होकर पुलिस के खिलाफ अभियान छेड़ दिया है। इधर आये दिन मीडिया कर्मियों का जायज़-नाजायज चालान काटा गया। देर रात शहर में कर्फ्यू होता है। आये दिन देर रात मीडियाकर्मियों को दफ्तर से लौटते हुए पुलिस से बहस हो जाती है।

आरोप है कि मीडिया पास, मान्यता प्रेस कार्ड या दफ्तर का आई कार्ड होने के बाद भी पुलिस उसे अमान्य बता देती है। हेलमेट, सीट बेल्ट, मास्क इत्यादि होने के बाद भी चालान काट दिया जाता है। जिससे नाराज लखनऊ के मीडियाकर्मियों ने पुलिस के खिलाफ अभियान छेड़ दिया है। जिसके तहत बिना हेल्मेट और बिना मास्क लगाये और दो पहिया वाहन पर ट्रिपलिंग करने वाले पुलिसकर्मियों की तस्वीर खीचकर सोशल वायरल की जायेगी। ऐसी तस्वीरें मुख्यमंत्री, मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव गृह और डीएम-कमिश्नर को टैग की जायेंगी। इस अभियान की शुरुआत लखनऊ के युवा छायाकार अतहर रज़ा ने की है।

गौरतलब है कि कोरोना काल में उत्तर प्रदेश की राजधानी की पुलिस सख्त हो गई है। लखनऊ में कोरोना के केस लगातार बढ़ रहे हैं। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बड़े अफसरों को सोशल डिस्टेंसिंग का पालन ना करने वालों से सख्ती से निपटने के लिए सख्त निर्देश दे रहे हैं। बड़े अफसर पुलिस को मुश्तेद रहने के लिए दबाव बना रहे हैं। दबाव और सख्त ड्यूटी की कुंठा में ठेले वालों के साथ मीडियकर्मियों को भी पुलिस अपने गुस्से का शिकार बना रही हैं।