डेस्क। भारत के लिए टोक्यो ओलिंपिक इतिहास के पन्नों में हमेशा के लिए दर्ज हो गया। जैसी अपने होनहार खिलाड़ियों से भारत को उम्मीद थी इन सभी ने कुछ वैसा ही कर दिखाया। टोक्यो ओलिंपिक में भारत ने अपने पुराने सारे रिकॉर्ड तोड़ते हुए पदकों की संख्या को 7 पहुंचा दिया है। लंदन ओलंपिक में भारत ने सबसे ज्यादा 6 पदक जीते थे जिसका रिकॉर्ड अब टूट चुका है।
भारत के स्टार एथलीट नीरज चोपड़ा ने भालाफेंक में देश के लिए पहला गोल्ड मेडल जीता है। शनिवार को गोल्ड मेडल की उम्मीद लिए भारतवासियों को जीत का जश्न मनाने का मौका मिला। पहले प्रायास में 87.03 मीटर भाला फेंका और दूसरे प्रयास में सबसे बेहतरीन प्रदर्शन करते हुए इसे 87.58 मीटर तक पहुंचा दिया। यही स्कोर इस इवेंट में आखिरी साबित हुआ और भारत की झोली में नीरज ने पहला एथलेटिक्स गोल्ड डाल दिया।
भारत का सर्वश्रेष्ठ ओलिंपिक प्रदर्शन
ओलिंपिक में भारत दल का यह अब तक का सबसे बेहतरीन प्रदर्शन हो गया है। इस बार भारतीय खिलाड़ियों ने पदकों की संख्या को 7 तक पहुंचाते हुए इतिहास रच दिया है। नीरज चोपड़ा का गोल्ड भारत के लिए यह रिकॉर्ड ब्रेकिंग मेडल रहा। शनिवार को पहलवान बजरंग पुनिया ने कांस्य पदक जीत भारत को लंदन ओलिंपिक में हासिल किए गए 6 पदकों की बराबरी दिलाई थी।
भारत को लंदन में हुए 2012 ओलिंपिक में 6 मेडल मिले थे जो 2008 में हुए बीजिंग ओलिंपिक से तीन ज्यादा था। इसके अलावा भारत को 2016 के रियो ओलिंपिक में 2 मेडल मिले थे तो वहीं 1952 और 1900 में भी दो-दो मेडल ही भारत के खाते में आए थे
भारत का ओलिंपिक में गोल्ड
पुरुष हॉकी टीम ने भारत की झोली में सबसे ज्यादा 8 गोल्ड मेडल डाले हैं। साल 2008 में निशानेबाज अभिनव बिंद्रा ने 10 मीटर एयर राइफल इवेंट में गोल्ड मेडल जीता था। वह व्यक्तिगत गोल्ड जीतने वाले भारत के पहला खिलाड़ी बने थे। 2021 में नीरज चोपड़ा ने भारत को भालाफेंक में गोल्ड मेडल दिलाया है।