WHO ने जॉनसन एंड जॉनसन की वैक्सीन को इमरजेंसी अप्रूवल दिया, इसके दूसरे डोज की जरूरत नहीं पड़ती

वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन (WHO) ने शुक्रवार को अमेरिकी दवा कंपनी जॉनसन एंड जॉनसन की सिंगल डोज कोरोना वैक्सीन के इमरजेंसी यूज को मंजूरी दे दी। मंजूरी के बाद इसे अब इंटरनेशनल कोवैक्स कैम्पेन के तहत गरीब देशों को सप्लाई किया जा सकता है। जॉनसन एंड जॉनसन के टीके की खास बात यह है कि इसके दो की बजाय सिर्फ एक डोज की जरूरत पड़ती है।

ब्राजील ने कोरोना संक्रमण के कुल केस में भारत को पीछे छोड़कर दूसरे नंबर पर पहुंच गया है। ब्राजील में कल 84,047 मरीज मिले। इससे कुल संक्रमितों का आंकड़ा 1 करोड़ 13 लाख 68 हजार 316 पर पहुंच गया है। भारत 1 करोड़ 13 लाख 33 हजार 491 संक्रमितों के साथ तीसरे स्थान पर है। वहीं, अमेरिका में 2 करोड़ 99 लाख 90 हजार 597 मरीजों के साथ टॉप पर है।

दुनिया में बीते 24 घंटे में 4.85 लाख नए संक्रमित मिले हैं और नौ हजार से ज्यादा मरीजों की मौत हुई है। अब तक 9 करोड़ 62 लाख से ज्यादा कोरोना संक्रमित ठीक हो चुके हैं। 26 लाख 50 हजार से ज्यादा ने जान गंवाई है। दुनियाभर में फिलहाल 2 करोड़ 6 लाख से ज्यादा कोरोना मरीजों का इलाज चल रहा है। ये आंकड़े www.worldometers.info/coronavirus के मुताबिक हैं।

FDA approves Johnson & Johnson's single-dose coronavirus vaccine |  Coronavirus | The Guardian

वैक्सीन से ब्लड क्लॉटिंग की शिकायत पर एस्ट्राजेनिका की सफाई
डेनमार्क, नॉर्वे और आइसलैंड समेत यूरोप के छह देशों में एस्ट्राजेनेका-ऑक्सफोर्ड की कोरोना वैक्सीन पर रोक लगाने के बाद कंपनी ने सफाई दी है। उसका कहना है कि हमारी वैक्सीन में गुणवत्ता को लेकर कोई कोताही नहीं बरती गई है और तय नियमों का सख्ती से पालन किया गया है। हमारी वैक्सीन से ब्लड क्लॉट के खतरे जैसे साइडइफेक्ट के पुख्ता सबूत नहीं मिले हैं।

डेनिश हेल्थ अथॉरिटी के निदेशक सोरेन ब्रोस्ट्रोम ने कहा कि डेनमार्क और यूरोप के दूसरे देशों में वैक्सीन के गंभीर साइडइफेक्ट की रिपोर्ट का हम डेनिश मेडिसिन एजेंसी के साथ मिलकर जवाब देंगे। वैक्सीन पर 14 दिनों के लिए रोक लगाई गई है।

WHO बोला- टीकाकरण रोकने की जरूरत नहीं
मामले में वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन (WHO) ने कहा है कि एस्ट्राजेनेका की वैक्सीन के इस्तेमाल को रोकने की जरूरत नहीं है। संगठन की प्रवक्ता मार्गरेट हैरिस ने शुक्रवार को कहा कि यह एक शानदार वैक्सीन है। दुनियाभर में इसका इस्तेमाल हो रहा है। साइडइफेक्ट की शिकायतें आ रही हैं, लेकिन इसके कोई पुख्ता सबूत नहीं मिले हैं। मामले की जांच की जा रही है। WHO की एडवाइजरी कमेटी मामले पर पूरी नजर बनाए हुए हैं। हालांकि, वैक्सीनेशन प्रोग्राम रोकना ठीक नहीं होगा।

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