High Screen Time Side Effects : आज के डिजिटल युग में, हर हाथ में स्मार्टफोन और अन्य इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स देखने को मिलते हैं। बच्चे से लेकर बुजुर्ग तक, सभी स्क्रीन के दीवाने हो रहे हैं। स्वास्थ्य विशेषज्ञों का मानना है कि 20 से 55 साल की उम्र के लोग गैजेट्स के अत्यधिक इस्तेमाल के कारण पीठ दर्द, गर्दन दर्द और रीढ़ की हड्डी में परेशानी का सामना कर रहे हैं।
20 से 45 साल की उम्र के लोगों में बढ़ रहा खतरा:
पिछले कुछ वर्षों में, गैजेट्स के ओवरयूज से पीठ और रीढ़ की हड्डी की समस्याओं में तेजी से वृद्धि हुई है। 20 से 45 साल की उम्र के लोगों में इन समस्याओं में 60 प्रतिशत तक की बढ़ोतरी देखी गई है। जितना ज्यादा लोग गैजेट्स के आदी होते जा रहे हैं, उतना ही रीढ़ की हड्डी पर बुरा असर पड़ रहा है। इस समस्या को नजरअंदाज करने पर गर्दन में दर्द, कंधे में अकड़न, सिरदर्द और शारीरिक गतिविधि में कमी जैसे लक्षण दिखाई देते हैं। अस्पताल आने वाले 10-12 मरीजों में से लगभग 4-5 मरीज गैजेट के अत्यधिक इस्तेमाल के कारण गर्दन और पीठ दर्द से परेशान होते हैं।अपनी जीभ देखकर जानें सेहत का हाल! इस तरह के लक्षण देते हैं बीमारियों का संकेत इन बीमारियों का बढ़ रहा है खतरास्क्रीन के सामने बहुत अधिक समय बिताने से गर्दन में अकड़न, कंधे के ब्लेड में दर्द, शरीर में दर्द या सिरदर्द जैसी समस्याएं हो सकती हैं। यात्रा करते समय मोबाइल फोन का उपयोग करना या काम करते समय घंटों तक लैपटॉप का उपयोग करना, गलत तरीके से बैठना या लंबे समय तक एक ही स्थिति में बैठे रहना पीठ दर्द का कारण बन सकता है।
जब हम गर्दन झुकाकर लंबे समय तक स्क्रीन देखते हैं तो इससे गर्दन, पीठ और रीढ़ की हड्डी पर दबाव पड़ता है। सामान्य खड़े रहने की पोजीशन में गर्दन और पीठ सीधी रहती है; लेकिन गर्दन झुकाकर रखने से रीढ़ की हड्डी पर तनाव पड़ता है।